उत्तर प्रदेश के गोरखपुर जिले में सिकरीगंज थाना क्षेत्र के कन्हौली गांव में रविवार शाम को दो पक्षों के विवाद ने ऐसा मोड़ लिया कि स्थिति बेकाबू हो गई। विवाद की सूचना पर मौके पर पहुंची पुलिस टीम पर भीड़ ने हमला कर दिया। इस हिंसक झड़प में चौकी इंचार्ज और एक सिपाही को बंधक बनाकर पीटा गया। हमले में चौकी इंचार्ज बेहोश हो गए और उन्हें गंभीर हालत में अस्पताल ले जाया गया। पुलिस ने घटना के संबंध में 15 नामजद और 25 अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
इसी घर में चौकी इंचार्ज और सिपाही को बंधक बनाया गया था
विवाद की शुरुआत कैसे हुई?
सिकरीगंज थाना क्षेत्र के कन्हौली गांव में रविवार को एक छोटी सी बात ने बड़ा विवाद खड़ा कर दिया। श्रवण यादव, जो बाइक पर सवार होकर दुघरा चौराहे पर कंबाइन की बेयरिंग खरीदने जा रहे थे, रास्ते में अपने पट्टीदार राजन से आमने-सामने हो गए। रास्ते में बाइक आगे-पीछे करने को लेकर दोनों के बीच कहासुनी हो गई।मामूली तकरार जल्द ही गाली-गलौज तक पहुंच गई, जिससे माहौल गर्म हो गया। स्थिति बिगड़ने से पहले श्रवण यादव ने डायल-112 पर कॉल कर पुलिस को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और दोनों पक्षों को शांत करवा कर वापस लौट गई। हालांकि यह विवाद शाम होते-होते और अधिक उग्र हो गया। और दोनों पक्षों के लोग आमने-सामने आ गए। देखते ही देखते ईंट-पत्थर चलने लगे।
पिटाई से घायल हुए चौकी इंचार्ज राकेश कुमार का फाइल फोटो, गोरखपुर मेडिकल कॉलेज में चल रहा है इलाज।
पुलिस पर हमला
झगड़े की सूचना मिलते ही चौकी इंचार्ज राकेश कुमार अपने हमराही विनीत कुमार के साथ मौके पर पहुंचे। लेकिन वहां मौजूद भीड़ ने पुलिस पर देर से पहुंचने और लापरवाही का आरोप लगाकर हंगामा शुरू कर दिया। इसके बाद स्थिति और बिगड़ गई, और गुस्साई भीड़ ने चौकी इंचार्ज और सिपाही को पीटना शुरू कर दिया। हमलावरों ने दोनों पुलिसकर्मियों को एक कमरे में बंद कर दिया और बंधक बना लिया।
पुलिस ने बचाई जान
घटना की जानकारी मिलते ही स्थानीय थाने से पुलिस बल मौके पर पहुंचा और बड़ी मशक्कत के बाद दोनों पुलिसकर्मियों को छुड़ाया। इस दौरान चौकी इंचार्ज राकेश कुमार गंभीर रूप से घायल हो गए और उन्हें मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया। सिपाही विनीत कुमार को भी चोटें आईं।
कन्हौली गांव में पुलिस बल की तैनाती के बाद स्थिति को नियंत्रण में बताया जा रहा है।
जांच और कार्रवाई जारी
एसपी साउथ जितेंद्र कुमार ने बताया कि इस मामले में 15 नामजद और 25 अज्ञात लोगों के खिलाफ केस दर्ज कर लिया गया है। आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दी जा रही है। गांव में अतिरिक्त पुलिस बल तैनात कर दिया गया है ताकि स्थिति पर नियंत्रण बनाए रखा जा सके। पुलिस ने स्पष्ट किया है कि दोषियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।
Note: Taazakhabar.live अपने ग्रामीण पाठकों को ऐसी घटनाओं से बचने और गांव में शांति बनाए रखने के लिए निम्नलिखित महत्वपूर्ण टिप्स साझा कर रहा है:
1. छोटी बातों को तूल न दें छोटी-मोटी कहासुनी को बड़े विवाद में बदलने से बचें। समस्या को बातचीत और समझदारी से हल करने का प्रयास करें।
2. पुलिस का सहयोग करें पुलिस के काम में रुकावट न डालें और उनकी सहायता करें। कानून-व्यवस्था बनाए रखने में पुलिस आपकी सुरक्षा के लिए ही काम करती है।
3. आपसी समझदारी बढ़ाएं परिवार या पट्टीदारों के बीच विवाद को सुलझाने के लिए पंचायत या मध्यस्थता का सहारा लें। आपसी सहमति से मामलों का हल निकालें।
4. उग्र भीड़ से बचें किसी भी स्थिति में भीड़ का हिस्सा न बनें। हिंसा और तोड़फोड़ से न केवल कानून का उल्लंघन होता है, बल्कि इससे सभी को नुकसान होता है।
5. शांत रहें और अफवाह न फैलाएं किसी भी घटना को लेकर अफवाह फैलाने से बचें। बिना सही जानकारी के किसी पर आरोप न लगाएं।
6. पुलिस को समय पर सूचना दें यदि कोई विवाद बढ़ने की स्थिति में हो, तो तुरंत पुलिस को सूचित करें और कानून का पालन करें।
7. बच्चों और युवाओं को रोकें घर के युवाओं और बच्चों को ऐसे मामलों से दूर रखें। उन्हें समझाएं कि हिंसा किसी समस्या का समाधान नहीं है।
8. गांव में शांति समितियां बनाएं गांव में शांति बनाए रखने के लिए पंचायत के तहत शांति समितियां बनाएं, जो विवादों को हल करने में मदद कर सकें।
9. कानूनी कार्रवाई से बचें किसी भी गैर-कानूनी गतिविधि में शामिल न हों। विवादों को कानून और नियमों के अनुसार हल करने का प्रयास करें।
10. सामाजिक एकता बनाए रखें गांव के सभी लोग मिल-जुलकर रहें। सामाजिक एकता और भाईचारा बनाए रखना ही किसी भी विवाद का स्थायी समाधान है।
इन उपायों को अपनाकर ग्रामीण शांति और सुरक्षा बनाए रख सकते हैं।